


भागलपुर। भारतीय वन्यजीव संस्थान देहरादून के तत्वावधान में जलज परियोजना के अंतर्गत प्रवासी पक्षी दिवस के अवसर पर बरारी घाट पर एक जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का उद्देश्य प्रवासी पक्षियों के महत्व और उनके संरक्षण के प्रति लोगों को जागरूक करना था।
इस मौके पर जलज परियोजना के असिस्टेंट कोऑर्डिनेटर राहुल कुमार राज ने बताया कि कीट कई प्रवासी पक्षियों के लिए ऊर्जा और प्रोटीन का अहम स्रोत होते हैं। लेकिन खेतों में कीटनाशकों और शाकनाशियों के अधिक प्रयोग से ये कीट नष्ट हो जाते हैं, जिससे पक्षियों के प्रवास और प्रजनन पर प्रतिकूल असर पड़ता है।

उन्होंने बताया कि पक्षी परागण और कीट नियंत्रण जैसी पारिस्थितिकी क्रियाओं में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। यदि कीटों की संख्या असंतुलित हो जाती है तो कुछ कीटों की अधिकता कृषि और पौधों के लिए भी हानिकारक हो सकती है।
राहुल कुमार राज ने कहा कि प्राकृतिक खेती अपनाकर, कीटनाशकों का कम प्रयोग कर और पक्षियों के प्रति संवेदनशील व्यवहार अपनाकर हम उनके संरक्षण में योगदान दे सकते हैं। साथ ही जैव विविधता का संरक्षण मानव जीवन के लिए आवश्यक है क्योंकि इसका सीधा संबंध खाद्य सुरक्षा, जलवायु परिवर्तन और स्वास्थ्य से जुड़ा होता है।
कार्यक्रम के अंत में उपस्थित सभी लोगों ने जैव विविधता के संरक्षण, वृक्षारोपण बढ़ाने, प्लास्टिक और प्रदूषण को कम करने का संकल्प और शपथ लिया।
